कोलकाता, 13 अक्टूबर . तृणमूल कांग्रेस की सांसद काकोली घोष दस्तीदार ने Monday को दुर्गापुर सामूहिक बलात्कार मामले पर प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए कहा कि ऐसा कोई समाज या राष्ट्र नहीं है, जहां ऐसे मामले नहीं होते.
यह बयान पश्चिम बंगाल की Chief Minister ममता बनर्जी की उस सलाह के एक दिन बाद आया है, जिसमें उन्होंने लड़कियों को रात में बाहर जाने से परहेज करने की बात कही थी.
पत्रकारों से बात करते हुए काकोली घोष दस्तीदार ने कहा, “किसी भी समाज में ऐसे एक या दो मामले होंगे, आपको दुनिया में ऐसा कोई देश नहीं मिलेगा जहां ऐसा न होता हो.”
उन्होंने यह भी बताया कि पश्चिम बंगाल Government ने अपराजिता विधेयक पारित कर दिया है, हालांकि, इसे अभी President से मंजूरी मिलनी बाकी है.
काकोली घोष दस्तीदार ने कहा, “हमारा मानना है कि यह एक जघन्य अपराध है. हम चाहते हैं कि अपराधी को सजा मिले. हमने पश्चिम बंगाल विधानसभा में अपराजिता विधेयक पारित किया था और फिर यह दिल्ली गया, लेकिन केंद्र Government ने इसे अनुमति नहीं दी. यह President के पास पड़ा है. Government जो कहती है, President वही करते हैं. हमारी मांग के बावजूद इसे पारित नहीं किया गया. इसलिए इसकी जिम्मेदारी केंद्र Government पर है.”
Odisha की द्वितीय वर्ष की मेडिकल छात्रा के साथ 10 अक्टूबर को दुर्गापुर स्थित कॉलेज परिसर के बाहर कथित तौर पर सामूहिक बलात्कार किया गया था. वह अपने पुरुष मित्र के साथ डिनर के लिए बाहर गई थी.
दुर्गापुर बलात्कार मामले में गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान शेख रेयाजुद्दीन, अपू बाउरी और फिरदौस शेख के रूप में हुई है. इसके अलावा, Monday सुबह एक और व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया.
Police के अनुसार, छात्रा अपने एक पुरुष मित्र के साथ डिनर के लिए परिसर से बाहर निकली थी, तभी मोटरसाइकिल पर सवार कुछ युवकों ने उनका पीछा करना शुरू कर दिया और उन पर अश्लील टिप्पणियां करने लगे.
कथित तौर पर आरोपियों ने छात्रा के दोस्त को भगा दिया और उसे परिसर के पीछे एक जंगली इलाके में घसीटकर ले गए और उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया. उन्होंने उसका मोबाइल फोन भी छीनकर फेंक दिया.
कॉलेज से लौटने पर उसके पुरुष मित्र और अन्य लोगों ने घायल छात्रा को जमीन पर पड़ा पाया. उसे स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया. Police ने पुष्टि की है कि वह Odisha के जलेश्वर की रहने वाली है.
इस बीच, भाजपा ने Chief Minister ममता बनर्जी पर तीखा हमला बोला है और पूर्व में हुई ऐसी घटनाओं का हवाला देते हुए कहा है कि उन्हें “पीड़ितों को दोषी ठहराने की आदत है.”
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एकेएस/एएस
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